भोपाल : 11 फरवरी, 2018.
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के रविवार को प्रसारित कार्यक्रम “दिल से” में जनता को प्रदेश के विकास और नव-निर्माण में सर्वश्रेष्ठ योगदान के लिये अनुकरणीय व्यक्तित्व, पवित्र पर्व और योजनाओं तथा कार्यक्रमों की भावनाओं एवं उद्देश्य को स्पष्ट करते हुये प्रेरित किया। उन्होंने सरकार द्वारा गरीब, किसान, वनवासी कल्याण के कार्यक्रमों, स्वास्थ्य, शिक्षा के कार्यो, एकात्म यात्रा, नर्मदा जयंती, स्वच्छता सर्वेक्षण, परीक्षाएं, कैंसर दिवस, अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस, महाशिवरात्रि पर्व आदि सम-सायमिक विषयों पर विचार व्यक्त किये। मुख्यमंत्री ने प्रेरणादायी व्यक्तियों का जिक्र करते हुये जीवन मूल्यों को स्पष्ट किया। श्री चौहान ने नारिकों से सीधा-संवाद करते हुये उनकी अपेक्षाएं और उनकी उपलब्धियों पर बातचीत की।
श्री चौहान ने पालकों से भी आग्रह किया कि वे बच्चों पर अनावश्यक दवाब नहीं बनाएं। ऐसा नहीं होना चाहिए कि पढ़ाई के बजाय बच्चों पर तनाव आ जाये। उन्होंने कहा कि बच्चों के साथ मित्र बनकर व्यवहार करें ताकि बच्चे जिन्दगी को बोझ नहीं समझें। श्री चौहान ने जरूरतमंदों की मदद के लिये नागरिकों का आव्हान किया। उन्होंने रेलवे स्टेशन, बस स्टेण्ड आदि स्थानों पर कचरा, पन्नी आदि बीनते दिखने वाले मासूम बच्चों के उचित पुर्नवास की जिला स्तर पर की गई व्यवस्थाओं का उल्लेख करते हुये नागरिकों से ऐसे बच्चों की जिन्दगी संवारने की चिंता करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि यदि उन्हें ऐसे बच्चे मिलें, तो जिला प्रशासन से संपर्क करें ताकि उन्हें बेहतर जिन्दगी दी जा सके। मुख्यमंत्री ने भगवान शिव के समान ही किसानों को भोला भंडारी बताया। उन्होंने किसानों को लागत पर 50 प्रतिशत मुनाफे को सुनिश्चित करने की प्रधानमंत्री की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि भंडारण का किराया सरकार देगी ताकि किसान को फसलों की उचित कीमत मिल सके। मुख्यमंत्री ने कहा कि आनंद की प्राप्ति धन-दौलत, पद-प्रतिष्ठा से नहीं होती। आनंद की प्राप्ति दूसरों को खुशियां देने से मिलती है। किसी के लिये अनुपयोगी छोटी-छोटी वस्तुयें भी जरूरतमंद की जिन्दगी में खुशी ला सकती है।
नागरिकों ने किया संवाद : मुख्यमंत्री को बतायीं अपेक्षाएं
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने मायगांव एप पर सुझाव देने वालों से चर्चा की। मुख्यमंत्री को रमाकांत ने प्रदेश की प्रगति के लिये हो रहे कार्यों को कमाल का प्रदर्शन बताते हुए कहा कि पूर्ण विकसित राज्य बनने के लिये प्रदेश तेजी से अग्रसर है। उन्होंने सुझाव दिया कि प्रत्येक ग्राम में एक खेल का मैदान हो। माइक्रो बैंकिंग के तहत एक हजार से एक लाख रूपये तक का कर्जा देने की व्यवस्था हो। यह प्रयास गरीबी को पूर्णता: दूर कर देगा।(UpdateMpCg.com)