भोपाल, Update. राज्य विधानसभा का यह सत्र हंगामेदार हो सकता है, क्योंकि कमलनाथ के नेतृत्व वाली प्रदेश सरकार द्वारा मीसाबंदियों को दी जाने वाली पेंशन इस महीने से अस्थाई तौर पर बंद किये जाने पर भाजपा उसे घेर सकती है। मध्यप्रदेश विधानसभा से प्राप्त जानकारी के अनुसार मध्यप्रदेश की 15वीं विधानसभा का प्रथम सत्र सात जनवरी से 11 जनवरी 2019 तक आयोजित किया जाएगा। इस पांच दिवसीय सत्र में पांच बैठकों का आयोजन होगा। सात जनवरी को शपथ/प्रतिज्ञान, आठ जनवरी को शपथ/प्रतिज्ञान,अध्यक्ष का निर्वाचन, राज्यपाल का अभिभाषण, राज्यपाल के अभिभाषण पर कृतज्ञता ज्ञापन प्रस्ताव, नौ जनवरी को निधन का उल्लेख, शासकीय कार्य, 10 जनवरी को शासकीय कार्य, राज्यपाल के अभिभाषण पर कृतज्ञता ज्ञापन प्रस्ताव पर चर्चा एवं 11जनवरी को शासकीय कार्य, राज्यपाल के अभिभाषण पर कृतज्ञता ज्ञापन प्रस्ताव पर चर्चा की जाएंगी। इस सत्र में विधानसभा अध्यक्ष भी चुना जाना हैं। कांग्रेस इस पद के लिए गोटेगांव के अपने विधायक नर्मदा प्रसाद प्रजापति को खड़ा कर रही है, जबकि विपक्ष ने अब तक इस संबंध में अपनी रणनीति का खुलासा नहीं किया है। वहीं, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष व सांसद राकेश सिंह ने बताया कि भाजपा के सभी नवनिर्वाचित विधायकों की आवश्यक बैठक 7 जनवरी को शाम पांच बजे भाजपा प्रदेश कार्यालय, पं. दीनदयाल परिसर में आहूत की गयी है। बैठक में भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं केन्द्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं प्रदेश प्रभारी डॉ. विनय सहस्रबुद्धे विशेष रूप से उपस्थित रहेंगे।
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