देश मे 48 साल बाद एक दल को लगातार दूसरी बार पूर्ण बहुमत

बीजेपी कार्यकर्ता के मन की बात”

•जनता जनार्दन ने मोदी जी को सौंपी हिंदुस्तान की मजबूत सरकार

•नेहा बग्गा

भोपाल, UPDATE/दैनिक जयहिन्द न्यूज़। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने 2014 के लोकसभा चुनावो में प्रचंड जीत के बाद “फिर एक बार मोदी सरकार” के नारे को 2019 में ऐतिहासिक जीत दर्ज कर साकार किया है। चिलखती गर्मी में वोटिंग के जब सारे रिकॉर्ड टूटे तो यह समझ आ ही गया था कि जनता ने इस बार पुनः मोदी जी को देश सौप कर जनसेवा का अवसर प्रदान किया है।

2019 के मुकाबले न सिर्फ जीत मिली, बल्कि पिछली बार की अपेक्षा अधिक सीटों पर जीत दर्ज की गयी, विपक्षी पार्टियों से 9 पूर्व मुख्यमंत्रियों को करारी हार का सामना भी करना पड़ा और इतना ही नही देशस्तर पर 50% से अधिक वोटो को लेकर मोदी जी एवम भाजपा ने यह साबित कर दिया कि जनता अब परिवरतंत्र नही बल्कि लोकतंत्र पर भरोसा रखती है । विरोधी पार्टीयो के राजा,महाराजा, राजकुमारों को उनकी परम्परागत सीट पर ही जमीनी स्तर के कार्यकर्तों ने करारी शिकस्त देते हुए हिंदुस्तान की राजनीति के मायने बदल कर रख दिये।

देश के युवा ने ModiHaiToMumkinHai के नारे को साकार करते हुए यह संदेश दिया कि हमे नया भारत पर विश्वास है जो दुश्मनों को उनके घर मे घुसकर मारता है, मुहतोड़ जवाब देता है ।

हिंदुस्तान की जनता ने जाति, धर्म, क्षेत्र आदि के बजाय “सबका साथ, सबका विकास” का मार्ग चुनते हुए दिल्ली की सरकार मोदी जी के हांथो में सौपकर एक नए इतिहास को रचा है ।

मोदी और शाह की जोड़ी बनी विजन और मिशन की जोड़ी

एक तरफ मोदी जी ने विदेशों में देश का सम्मान बढ़ाया तो दूसरी ओर संगठन में जोश करते हुए कप्तान अमित शाह जी ने मोती जैसे कीमती कार्यकर्ताओ को संगठन रूपी धागे में पिरोने का कार्य करते हुए देश के जन जन तक मोदी सरकार के नीतियों को पहुचाया और उसका लाभ सरकारी तंत्र के माध्यम से दिलवाया।

बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह अक्सर कहा करते थे कि दो दलों के बीच होने वाला समझौता फ़िज़िक्स की तरह काम नहीं करता। जब दो पार्टियाँ मिलती है तो नीचे कार्यकर्ता केमिस्ट्री की तरह रियेक्ट करते है। काग़ज़ पर देखने में अच्छा लगता है कि दो और दो चार लेकिन दो में से दो घटाकर सिफ़र होने की गुंजाईश बनी रहती है।
ये अमित शाह की दूरदर्शिता ही थी जो उन्होंने उत्तर प्रदेश और बिहार में भाँप ली थी। नतीजा सामने है। अमित शाह का नारा था कि अगर बीजेपी का वोट शेयर पचास फ़ीसदी से ज़्यादा हो गया तो कोई भी महागठबंधन बीजेपी के लिये घातक साबित नहीं हो सकता। ऐसा ही कुछ हुआ यूपी और बिहार में।

श्री शाह ने बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं से तक संपर्क साध कर यह संदेश दिया कि यह एक परिवार की पार्टी नही है, यहाँ परिवारवाद से ऊपर कार्यकर्ता है, कार्यकर्ता से ऊपर संगठन, संगठन से ऊपर देश। देश सर्वोपरि।

नरेंद्र मोदी जी के सरल स्वभाव, गंभीर व्यक्तित्व, कठिन समय मे सकारात्क फैसले को जनता ने दिल से स्वीकारा और इतना ही नही बम्पर वोटिंग कर दिल्ली की सरकार पुनः सौपी।

मोदी जी ने देश में स्वच्छता अभियान, अंगदान, पानी बचाओ जैसे आंदोलनों से देश को एक नई दिशा देने का कार्य कर इन अभियानों से सवा सौ करोड़ देशवाशियों को जोड़कर समाज मे व्यापत कुरूतियों को खत्म करने की दिशा में भी महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है । विपक्षियों का कमजोर नेतृत्व, झूठी बयानबाजी, कमजोर मिशन विजन , जातिवादी क्षेत्रवादी जैसी विचारधारा मुख्य रूप से हार का कारण बनी। (लेखिका बीजेपी की वार्ताकार हैं).updatempcg.com

Pradeep Jaiswal

Political Bureau Chief