मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान अद्भुत प्रतिभा के धनी है। जनसेवा की उनकी कार्यशैली के कई राजनीतिक क्षेत्र के दिग्गज भी दीवाने हैं। हालांकि वे दूसरों के अच्छे कार्यों से सीखते भी हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के वे बड़े फैन हैं। सीएम चौहान प्रदेश में आजकल प्रधानमंत्री के सपनों को पंख लगाने का काम कर रहे हैं। दरअसल यहां बात हो रही है मनरेगा में श्रमिकों को मिलने वाले काम की। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह के प्रयासों से मध्यप्रदेश ने मनरेगा के तहत खर्च में देश में टॉप फाइव राज्यों में जगह बनाई है। यानी जैसी प्रधानमंत्री की मंशा है कि श्रमिकों को ज्यादा से ज्यादा काम मिले, मुख्यमंत्री ने मनरेगा में श्रमिकों को रोजगार देने के लिए फोकस रखकर कार्य किया। इस योजना में वे सफल भी रहे हैं। यहां उल्लेख करना आवश्यक है कि प्रदेश में विकास पुरुष की पहचान रखने वाले भगवान के वरदान शिवराज सिंह चौहान लगातार मध्य प्रदेश के विकास और प्रदेश वासियों के लिए रोजगार सृजन के काम में दृढ़ संकल्प के साथ जुटे हुए हैं। शिवराज सिंह चौहान लगातार यह प्रयास कर रहे हैं कि ज्यादा से ज्यादा लोगों को रोजगार प्रदेश में ही प्राप्त हो। उन्होंने इसके लिए अथक और निरन्तर प्रयास किए हैं। उनके प्रयासों से ही मनरेगा के तहत केंद्र सरकार ने मध्य प्रदेश को खुले दिल से राशि दी है। उसका सबसे बड़ा कारण है मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान लगातार प्रधानमंत्री सम्माननीय नरेंद्र मोदी जी से लगातार संपर्क में रहते हैं और प्रदेश की विकास योजनाओं की प्रगति के बारे में चर्चा करते हैं। जहां उन्हें केंद्र से मदद की जरूरत लगती है वे प्रधानमंत्री से सीधे अनुरोध कर मदद ले लेते हैं। यही नही प्रधानमंत्री का स्नेह, आशीर्वाद और सहयोग मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को लगातार प्राप्त होता रहता है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की जनसेवा में सुचिता और सुशासन की कार्यशैली की वजह से वे केंद्रीय नेतृत्व के चहेते मुख्यमंत्री हैं। देश की सूची में शिवराज सिंह चौहान का नाम पहले नंबर पर है जो प्रदेश के विकास के लिए वरदान साबित हो रहा है। यह इसलिए भी कि मध्य प्रदेश जनकल्याण की योजनाओं पर खर्च करने में कभी पीछे नहीं रहा। मनरेगा में तो खर्च की स्थिति यह है कि मध्य प्रदेश टॉप 5 राज्यों में शामिल है। यह जानकारी केंद्र सरकार द्वारा हाल ही में लोकसभा में दी गई है। मनरेगा के तहत मध्यप्रदेश में वित्तीय वर्ष 2019-20 में 4949.34 करोड़ खर्च किए थे। इसके अगले वित्तीय वर्ष 2020-21 में इससे दुगनी राशि 9142.26 करोड़ खर्च की गई। वहीं अब चालू वित्त वर्ष में इस राशि में भारी इजाफा होने की संभावना है। जिस मात्रा में काम मांगने वालों की संख्या बढ़ रही है, उसी मात्रा में सरकार उनको काम भी दे रही है। सरकार का प्रयास है कि अधिक से अधिक लोगों को रोजगार मिले।
उपयोगी साबित हो रहा श्रमिक पोर्टल
कुछ माह पूर्व शुरू हुए श्रमिक पोर्टल के मुताबिक मध्य प्रदेश से एक करोड़ 21 लाख लोगों ने अपना पंजीयन कराया है। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने रोजगार के लिए एक अभिनव पहल शुरू की है। हर माह एक लाख लोगों को रोजगार देने के प्रयास सरकार निरंतर कर रही है। इसके लिए जहां प्रत्येक जिलों में रोजगार मेलों का आयोजन किया जा रहा है वहीं सरकार युवाओं को स्वयं का रोजगार शुरू करने के लिए भी सस्ते कर्ज और तकनीकी सहयोग भी प्रदान कर रही है। विभिन्न विभागों में रिक्त पदों को भरे जाने की प्रक्रिया भी सतत जारी है। निकट एक वर्ष में लगभग 44 हजार से अधिक युवाओं की भर्ती हो चुकी है। निरन्तर भर्तियों के इस कदम ने कहीं ना कहीं विपक्ष के हाथ से एक बड़ा मुद्दा छीन लिया हैं।
सीएम के प्रयासों से लगातार कृषि कर्मण अवार्ड मिला
मध्य प्रदेश की जनता को अपने मुखिया शिवराज पर पूरा विश्वास है कि वह जो कहते हैं उसे पूरा करते हैं। किसानों की आय में वृद्धि और कृषि क्षेत्र के विकास के लिए लगातार अनुसंधान और साहसिक काम हुए हैं। मुख्यमंत्री के प्रयासों से हर क्षेत्र में पूरे देश में मध्य प्रदेश लगातार टॉप फाइव पोजीशन पर आ रहा है। जैविक खेती के मामले में सकारात्मक प्रगति हुई है। दूध का उत्पादन बड़ा है। खाद्यान्न उत्पादन में पहले वर्षों की अपेक्षा कई गुना वृद्धि हुई है। किसानों की स्थिति में भी बेहतर सुधार हुआ है। खाद्यान्न उत्पादन में शिवराज सिंह चौहान जी के प्रयासों से प्रदेश को लगातार कृषि कर्मण अवार्ड प्राप्त हुआ है।